अब सोलर प्लांट लगा कर किसान भी कमा सकते हैं अच्छी इनकम
आज के समय में सोलर एनर्जी का उपयोग कई इलाकों में बढ़ रहा है खासकर कृषि में। खेती में इस्तेमाल होने वाले कई इलेक्ट्रिकल इक्विपमेंट अब सोलर एनर्जी से ऑपरेट किए जा सकते हैं। सरकार सोलर इक्विपमेंट के लिए सब्सिडी भी दे रही है जिससे किसानों के लिए अपने खेतों में सोलर पैनल लगाना आसान हो गया है।
सोलर प्लांट लगाकर किसान बिजली की लागत बचा सकते हैं और एडिशनल बिजली बेचकर एक्स्ट्रा इनकम भी जनरेट कर सकते हैं। इससे उनकी इनकम दोगुनी हो सकती है। सोलर प्लांट के माध्यम से बिजली पैदा करना न केवल ईको-फ्रेंडली है बल्कि किसानों को आत्मनिर्भर बनने में भी सक्षम बनाता है।
एग्रीकल्चर में सोलर प्लांट इंस्टालेशन
भारत एक कृषि प्रधान देश है जहाँ ज्यादातर लोग खेती पर निर्भर है। कृषि को और ज्यादा एडवांस और बेनिफिशियल बनाने के लिए मॉडर्न टेक्नोलॉजी और इक्विपमेंट का उपयोग आवश्यक है। सोलर एनर्जी का उपयोग करके किसान अपने खेतों में कई इलेक्ट्रिकल इक्विपमेंट को ऑपरेट कर सकते हैं जिससे उनकी खेती की प्रक्रिया ज्यादा एफ्फिसिएंट और ईको-फ्रेंडली हो जाती है।
किसान सोलर पैनलों की शादी में फसल भी उगा सकते हैं जिससे ज़मीन का मैक्सिमम उपयोग हो सकता है। इसके अलावा सोलर पैनलों द्वारा प्रोड्यूस सरप्लस पावर को डिस्कॉम (बिजली डिस्ट्रीब्यूशन कंपनियों) को बेचा जा सकता है जिससे किसानों को एडिशनल इनकम प्राप्त होगी। इस प्रकार सोलर प्लांट इंस्टॉल करने से किसानों की इनकम में काफी ग्रोथ हो सकती है।
सोलर पंपों के इंस्टॉल के लिए सरकारी असिस्टेंस
भारत सरकार ने किसानों के लिए सोलर पंप इंस्टॉल करने के लिए सब्सिडी प्रदान करने के लिए प्रधानमंत्री किसान ऊर्जा सुरक्षा एवं उत्थान महाभियान (पीएम-KUSUM) योजना शुरू करी है। इस योजना के तहत केंद्र और राज्य सरकारें दोनों किसानों को फाइनेंसियल असिस्टेंस ऑफर करती हैं।
इससे किसान कम कीमत पर सोलर पंप और सोलर प्लांट सेटअप कर सकते हैं, जिससे उनकी कृषि प्रोसेस में सुधार होगा और बिजली का खर्च कम होगा। किसान सोलर प्लांट इंस्टालेशन के लिए अपनी जमीन को पट्टे पर भी दे सकते हैं जिससे वे अपनी शेयर में फसल उगाते हुए सोलर पैनलों से किराया कमा सकते हैं। यह डायवर्सिफिकेशन उनके इनकम सोर्स को बढ़ा सकता है और उनकी आर्थिक कंडीशन को मजबूत कर सकता है।
पीएम-कुसुम योजना क्या है ?
कृषि में इरीगेशन एक इम्पोर्टेन्ट एक्टिविटी है जिसके लिए अक्सर किसानों को फॉसिल फ्यूल से चलने वाले पंपों का उपयोग करना पड़ता है। ये पंप न केवल काफी प्रदूषण पैदा करते हैं बल्कि किसानों पर फाइनेंसियल बर्डन भी डालते हैं। इस समस्या के सलूशन के लिए सरकार ने पीएम-कुसुम योजना शुरू करी है।
पीएम-कुसुम योजना के तहत किसान 90% तक सब्सिडी पर 2HP से लेकर 5HP तक के सोलर पंप लगा सकते हैं। इस योजना का उद्देश्य किसानों को सस्ती और स्वच्छ एनर्जी उपलब्ध कराना है और उनकी वित्तीय स्थिति में सुधार लाना है। इस योजना से देश भर के 3.6 करोड़ किसानों को लाभ मिलेगा। किसान इस योजना के लिए ऑनलाइन अप्लाई कर सकते हैं जिससे न केवल उनकी सिंचाई संबंधी समस्याएँ हल होंगी बल्कि उन्हें फॉसिल फ्यूल से जुड़ी लागतों से भी मुक्ति मिलेगी।
कमर्शियल कंपनियों के लिए प्रति मेगावाट सोलर प्लांट इंस्टॉल करने के लिए आवश्यक मिनिमम नेट वर्थ ₹1 करोड़ से लेकर ₹5 लाख तक है। इससे यह केवल योग्य और सक्षम कंपनियाँ ही इस सेक्टर में इन्वेस्ट कर सकेंगी।
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